Saturday 24 September 2016

स्नेहिल-प्रभात...!

स्नेहिल-प्रभात...!!!

जीत मिले जीवन में, हर बाधा जाए हार;
सफलता सजे थाल पर, बने ख़ुशियाँ गले का हार;
दुःख सभी के दूर होवें, मिट जाए कष्ट-क्लेश;
नव-प्रगति नव-उल्लास का, नित होवे श्री गणेश।

No comments:

Post a Comment